केंद्र सरकार ने दिव्यांगजनों के लिए बड़ा और सराहनीय कदम उठाते हुए सरकारी आवासों के आवंटन में 4% आरक्षण देने का फैसला किया है। आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय की ओर से जारी सर्कुलर के अनुसार, दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम, 2016 के तहत यह आरक्षण सुनिश्चित किया गया है ताकि विकलांग व्यक्तियों को आवासीय सुविधाओं तक समान, सम्मानजनक और सुलभ पहुंच मिल सके।
यह निर्णय न केवल समाज के कमजोर वर्ग के समावेशी विकास को बल देगा, बल्कि ‘सभी के लिए आवास’ के लक्ष्य को और भी मजबूती प्रदान करेगा। केंद्र सरकार के ऐसे कर्मचारी, जिनके पास “Benchmark Disability” है, उन्हें GPRA (जनरल पूल रेसिडेंशियल एकॉमोडेशन) के तहत हर महीने उपलब्ध प्रत्येक प्रकार के घरों में 4% आरक्षण मिलेगा।
eSampada वेबसाइट के माध्यम से होने वाली इस प्रक्रिया में पात्र दिव्यांग कर्मचारियों को सामान्य प्रतीक्षा सूची में प्राथमिकता दी जाएगी। UDID कार्ड को विकलांगता के प्रमाण के रूप में मान्यता दी जाएगी और यह पूरी प्रणाली स्वचालित प्रणाली (ASA) के माध्यम से संचालित होगी।
यह पहल सरकार की नागरिक सशक्तीकरण की प्रतिबद्धता को दर्शाती है और समावेशी भारत की दिशा में एक अहम कदम साबित होगी।
