श्रावण मास में भक्त सम्राट अशोक सेतु से करेंगे महाकाल के दर्शन, भीड़ नियंत्रण के लिए नया रूट तैयार

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श्रावण मास के दौरान उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को नियंत्रित करने के लिए मंदिर प्रशासन ने एक नया मार्ग तैयार किया है। अब दर्शनार्थियों को सम्राट अशोक सेतु के माध्यम से मंदिर में प्रवेश की सुविधा दी जाएगी। यह नया पुल रूद्रसागर झील पर स्मार्ट सिटी परियोजना के अंतर्गत बनाया गया है, जिसकी लंबाई 200 मीटर और चौड़ाई 9 मीटर है।

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा उद्घाटित इस पुल का उपयोग अभी नहीं हो रहा, लेकिन श्रावण मास में इसे प्रमुख डायवर्ट रूट के रूप में इस्तेमाल करने की योजना बनाई जा रही है। चलित भस्म आरती के समय यह पुल श्रद्धालुओं को चारधाम पार्किंग से शक्तिपथ होते हुए सीधे मंदिर तक पहुंचने का आसान और छोटा मार्ग देगा।

वर्तमान में भक्तों को नंदी द्वार से प्रवेश दिया जा रहा है, जहां से वे महालोक और टनल मार्ग से होते हुए भगवान महाकाल के दर्शन कर रहे हैं। सम्राट अशोक सेतु से यात्रा करने पर यह मार्ग करीब डेढ़ किलोमीटर छोटा होगा, जिससे दर्शन प्रक्रिया अधिक सुगम हो सकेगी।

लगभग 22.5 करोड़ रुपये की लागत से तैयार यह अत्याधुनिक पुल न सिर्फ सुविधा बढ़ाएगा, बल्कि इसकी रात्रिकालीन रोशनी और रूद्रसागर का दृश्य भी श्रद्धालुओं को आकर्षित करेगा।

Soniya upadhyay
Author: Soniya upadhyay

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