न्यायमूर्ति, विधायक और प्रोफेसर रहे शामिल
नई दिल्ली : (शाहनवाज शेख) साउथ दिल्ली जामिया हमदर्द में शहीद ए आज़म वीर अब्दुल हमीद की शहादत दिवस पर प्रतिमा का अनावरण किया गया, उनकी शहादत दिवस पर एक भव्य आयोजन भी किया गया, जिसमें प्रख्यात हस्तियों ने शिरकत की, आयोजन के मुख्य अतिथि के रूप में न्यायमूर्ति मोहम्मद अज़हर हुसैन इदरीसी इलाहाबाद उच्च न्यायालय एवं विशिष्ट अतिथि विधायक चंदन चौधरी, जामिया हमदर्द के कुलपति प्रोफेसर डॉ. मोहम्मद अफसार आलम, डॉ. मोहम्मद जावेद (शहीद वीर अब्दुल हमीद के पौत्र), कर्नल ताहिर मुस्तफा (रजिस्ट्रार, जामिया हमदर्द), हाजी मोहम्मद नफीस इदरीसी राष्ट्रीय अध्यक्ष अंजुमन इदरीसिया, भागवीर चौधरी (निगम पार्षद, तुगलकाबाद एक्सटेंशन), हाजी हनीफ मलिक आदि रहे। सभी ने शहीद वीर अब्दुल हमीद की शहादत को याद करते हुए देश के लिय कुर्बान होने वालों को वीरों को नमन किया। इसी कड़ी में संगम विहार विधानसभा में शहीद वीर अब्दुल हमीद की मूर्ति स्थापित की गई जिससे नौजवानों में देश के लिय जज्बे को जगाया जा सके और शहीदों को सम्मान देने के लिए उनको हमेशा याद किया जाता रहना भी जरूरी बताया।
सभी उपस्थित अतिथियो और सम्माननीय गणों ने शहीद वीर अब्दुल हमीद की हमदर्द टी प्वाइंट पर अनावरण की गई प्रतिमा पर माल्यार्पण किया और उनकी देशभक्ति को सलामी देते हुए श्रद्धांजलि अर्पित की। इसके पश्चात हमदर्द ऑडिटोरियम में आयोजन किया।
कार्यक्रम के आयोजक पत्रकार कमर अहमद एवं मोहम्मद मुशर्रत ने बताया कि यह पावन दिन हमारे लिए ऐतिहासिक और गौरवान्वित करने वाला है। इस शहादत दिवस पर हम सबने मिलकर शहीद-ए-आज़म वीर अब्दुल हमीद साहब को श्रद्धांजलि अर्पित की और उनकी प्रतिमा का अनावरण किया, यह समारोह उनके अद्वितीय शौर्य और बलिदान को याद करने के लिए एक छोटी सी श्रद्धांजलि है, हम उन सभी विशिष्ट अतिथियों का हृदय से धन्यवाद करते हैं जिन्होंने इस समारोह की शोभा बढ़ाई, इस प्रतिमा को यादगार के तौर पर लगाया गया, इसको लगाने में संगम विहार विधायक चंदन कुमार चौधरी और पत्रकार कमर अहमद, मोहम्मद मुशर्रत ने अहम भूमिका निभाई, साथ ही इलाके के लोगों का भी समर्थन भरपुर रहा। कमर अहमद और मोहम्मद मुशर्रत ने अपने क्षेत्र के विधायक चंदन कुमार चौधरी का धन्यवाद व्यक्त किया। साथ ही आए हुए मंच पर आसीन सभी अतिथियों और साथियों का धन्यवाद ज्ञापित किया और प्रोग्राम को कामयाब बनाने में जामिया हमदर्द और अंजुमन इदरीसिया का भी उन्होंने शुक्रिया अदा किया, साथ ही हम उन सभी लोगों और संस्थाओं के भी हृदय से आभारी हैं जिन्होंने इस आयोजन को सफल बनाने में अपनी भूमिका निभाई। इस आयोजन में शहीद वीर अब्दुल हमीद अवॉर्ड भी दिए गए जिसमें कई संस्थाओं को चिन्हित किया गया था।
शहीद वीर अब्दुल हमीद के बारे में
1 जुलाई 1933 को उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले के धामूपुर गांव में पैदा होने वाले वीर अब्दुल हमीद एक महान सैनिक थे जिन्होंने 1965 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में अपनी अद्वितीय वीरता का प्रदर्शन किया। वह भारतीय सेना की 4 ग्रेनेडियर्स रेजिमेंट में क्वार्टर मास्टर हवलदार के पद पर तैनात थे। अब्दुल हमीद ने अपनी 106 मिमी रिकॉइललेस राइफल से लैस जीप के साथ पाकिस्तानी सेना के अजेय माने जाने वाले पैटन टैंकों का सामना किया और आठ टैंकों को नष्ट कर दिया। वीर अब्दुल हमीद की कहानी आज भी भारतीय सेना और देशवासियों के लिए प्रेरणा का स्रोत है। उनकी शहादत ने यह साबित किया कि साहस, रणकौशल और देशभक्ति के सामने कोई भी शत्रु अजेय नहीं है। अब्दुल हमीद को मरणोपरांत भारत का सर्वोच्च सैन्य सम्मान परमवीर चक्र प्रदान किया गया।